
PM Modi की ब्रिटेन यात्रा: खालिस्तानी मुद्दे और भगोड़ों के प्रत्यर्पण पर होगी चर्चा
22 जुलाई 2025
यात्रा का उद्देश्य
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी 23 जुलाई 2025 को ब्रिटेन की आधिकारिक यात्रा पर जा रहे हैं, जहां वे ब्रिटिश प्रधानमंत्री कीर स्टार्मर के साथ द्विपक्षीय संबंधों को मजबूत करने और महत्वपूर्ण मुद्दों पर चर्चा करेंगे। इस यात्रा का मुख्य उद्देश्य भारत-ब्रिटेन मुक्त व्यापार समझौते (FTA) को अंतिम रूप देना, खालिस्तानी उग्रवाद से निपटने और भारत में वांछित भगोड़ों के प्रत्यर्पण जैसे प्रमुख मुद्दों पर बातचीत करना है। विदेश सचिव विक्रम मिस्री ने इस यात्रा को दोनों देशों के बीच व्यापक रणनीतिक साझेदारी को गहरा करने का अवसर बताया है।
खालिस्तानी उग्रवाद पर भारत की चिंता

भारत ने ब्रिटेन में खालिस्तानी उग्रवादी गतिविधियों को लेकर गहरी चिंता जताई है। विदेश सचिव विक्रम मिस्री ने कहा कि खालिस्तानी समूहों और उनसे जुड़े संगठनों की मौजूदगी न केवल भारत के लिए, बल्कि ब्रिटेन में सामाजिक एकता और व्यवस्था के लिए भी खतरा है। भारत ने पहले भी लंदन में भारतीय उच्चायोग पर हमलों और खालिस्तानी प्रदर्शनों के खिलाफ ब्रिटिश अधिकारियों से कड़ी कार्रवाई की मांग की है। इस यात्रा के दौरान पीएम मोदी इस मुद्दे को जोर-शोर से उठाएंगे और खालिस्तानी संगठनों पर निगरानी, खुफिया जानकारी साझा करने और सख्त कार्रवाई की मांग करेंगे।
भगोड़ों के प्रत्यर्पण की मांग
भारत लंबे समय से ब्रिटेन में शरण लिए हुए आर्थिक अपराधियों जैसे विजय माल्या, नीरव मोदी और ललित मोदी के प्रत्यर्पण की मांग करता रहा है। ये व्यक्ति भारत में वित्तीय धोखाधड़ी के गंभीर आरोपों का सामना कर रहे हैं। विदेश सचिव मिस्री ने पुष्टि की कि भारत इस मुद्दे पर ब्रिटिश अधिकारियों के साथ कानूनी प्रक्रियाओं के माध्यम से काम कर रहा है और प्रत्यर्पण के लिए दबाव बनाए रखेगा। नीरव मोदी की प्रत्यर्पण प्रक्रिया में कुछ प्रगति हुई है, लेकिन अन्य मामलों में देरी भारत के लिए चिंता का विषय बनी हुई है।
मुक्त व्यापार समझौता (FTA) पर जोर
भारत और ब्रिटेन के बीच मुक्त व्यापार समझौता इस यात्रा का एक प्रमुख आकर्षण होगा। दोनों देशों ने मई 2025 में इस समझौते पर बातचीत पूरी कर ली थी, और अब अंतिम कानूनी औपचारिकताएं पूरी की जा रही हैं। यह समझौता भारत के लिए टेक्सटाइल, चमड़ा, रत्न और आभूषण जैसे श्रम-प्रधान क्षेत्रों में निर्यात के अवसर खोलेगा। पीएम मोदी और कीर स्टार्मर इस समझौते पर हस्ताक्षर कर इसे ऐतिहासिक बनाने की दिशा में काम करेंगे, जो दोनों देशों के बीच आर्थिक सहयोग को और मजबूत करेगा।
अन्य महत्वपूर्ण चर्चाएं
पीएम मोदी अपनी यात्रा के दौरान किंग चार्ल्स तृतीय से मुलाकात करेंगे और दोनों देशों के प्रमुख व्यापारिक नेताओं के साथ बातचीत करेंगे। क्षेत्रीय और वैश्विक मुद्दों पर भी विचारों का आदान-प्रदान होगा। भारत ने ब्रिटेन के साथ रक्षा, जलवायु परिवर्तन और सुरक्षा जैसे क्षेत्रों में सहयोग बढ़ाने की इच्छा जताई है। यह यात्रा, हालांकि संक्षिप्त है, भारत-ब्रिटेन संबंधों को नई ऊंचाइयों तक ले जाने का अवसर प्रदान करेगी।
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